Hindi poem for Class 4:- Here, I present to you a delightful collection of the top 21+ Hindi poems for Class 4, each carrying profound thoughts crafted by the poet. Within this article, we will delve into the realm of Hindi poems adorned with moral lessons, designed specifically for children. Hindi boasts an extensive repertoire of poetic treasures, and poems hold immense significance in any language.
यहाँ छोटे बच्चों के लिए ज्ञान पर लिखी हुई बहुत ही सुंदर कविता प्रस्तुत किया गया है। यह कविता हमारे सभी नन्हें-मुन्हें बच्चों के लिए जरूर पसंद होगी। आज के लेख में, हम बच्चों के लिए नैतिक के साथ कक्षा 4 के लिए हिंदी कविताओं पर चर्चा करेंगे। कविताएँ किसी भी भाषा में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं।
Children are often immersed in poems that encompass morals and values, imparting them to young minds. Below, you will find a compilation of Hindi poems tailored for Class 4 students, destined to captivate their hearts.
Hindi poems, or “Hindi kavita,” are a splendid way to embark on a journey of imagination, emotions, and cultural richness. These enchanting verses, carefully crafted in the poetic form of Hindi, hold the power to captivate the hearts and minds of young learners, even those in Class 4.
In the world of Hindi poems, vibrant colors come alive as words dance gracefully across the page. Each poem is like a little story, unfolding before our eyes, as if a magical spell has been cast upon the words. Through rhythmic patterns and melodic tones, Hindi poems create a symphony of language that resonates deep within the soul.
The poems for Class 4 children in Hindi are carefully selected to ignite their curiosity and spark their creativity. They often revolve around nature, animals, seasons, and simple everyday experiences that children can easily relate to. With every verse, these poems transport young minds to a world filled with wonder and joy.
The beauty of Hindi poems lies not only in the mesmerizing words but also in the underlying messages they convey. They teach valuable lessons about love, friendship, honesty, and the importance of embracing one’s own unique identity. Through these poems, children develop a deep appreciation for their cultural heritage and learn the power of self-expression.
As children recite these Hindi poems, their voices become instruments of melody, spreading the magic of language far and wide. The rhythmic flow of the verses instills a sense of confidence and nurtures a love for language within their tender hearts. They learn to appreciate the nuances of Hindi, embracing the beauty of their mother tongue.
फूलों की बहार
Hindi Poem For Class 4
फूलों की बहार है यहाँ,
खिल उठे हैं सभी गुलदस्ते।
मस्ती से खेल रहे हैं सब,
हर तरफ है खुशी का मैला मस्त।
हरा-भरा यहाँ का बगीचा,
देखो तुम इसे बड़ी खुशी से।
मौसम ने बनाई है तस्वीर,
बह रही है धूम उसकी तरफ से।
फूलों का रंग अनोखा है,
हर एक खिली हुई मुस्कान भी।
सूंदरता की है इसमें बारिश,
हर कोई है इसे देखने को बेकरार भी।
बच्चों को यहाँ प्यार मिलता है,
खेलने को जगह बहुत है यहाँ।
मिलकर सब मिलते हैं खुशी से,
यहाँ का है आनंद निर्माण भी।
फूलों की बहार हमारी यहाँ,
मिलकर आएं सब खुशहाली से।
यही है बचपन की खुशी का आदान,
हमारे दिल में बसी यही जान से।
-आदित्य
बापू नमन आपको
Hindi Poem For Class 4
प्यारे बापू नमन आपको।
आज़ादी का बिगुल बजाया,
अंग्रेजों को मार भगाया।
हम सबका ही, नमन आपको।
गोली से भी नहीं डरे थे,
सत्य-मार्ग पर सदा बढ़े थे।
इसीलिए तो नमन आपको,
नस्ल-भेद को दूर हटाया।
मानवता का पाठ पढ़ाया।
आज राष्ट्र का, नमन आपको।
-रमेश चन्द्र पंत
आओ हम पेड़ लगाएँ
Hindi Poem For Class 4
आओ हम पेड़ लगाएं,
आस पास को हरा भरा बनाए।
कितने सुंदर कितने प्यारे,
रंग बिरंगे रहते चूपचाप खड़े।
एक दूसरे से गले मिले,
आओ हम पेड़ लगाएं।
चिड़ियों का संगीत सूनो,
अपने मन को थीर धरो।
पेड़ों से तुम भी प्रीत करो,
पेड़ों से आती बरसात निराली।
फूलों की सुगंध मन को बहकाये,
आओ हम पेड़ लगाएं।
जल जीवन है धरा पर उपवन,
पेड़ ही तो धरती का तन मन।
काम की बात सबको बताओ,
पेड़ ना काटो मान भी जाओ।
जीव जंतु सदियों से रहते आये,
आओ हम मिलकर पेड़ लगाएं।
पेडों की है बात निराली,
करनी है इनकी रखवाली।
हम मनाएंगे ईद और दीवाली,
ऋषियों ने पेड़ों के गुण बताए।
आओ हम वन महोत्सव मनाए,
आओ हम पेड लगाएं।
-अजय कुमार यादव
मातृभाषा का नाम है हिंदी
hindi kavita for class 4
मातृभाषा का नाम है हिंदी
देश का अपने सम्मान है हिंदी
है ये सब भाषाओं से न्यारी
हर हिंदुस्तानी का अभिमान है हिंदी
कश्मीर का सौंदर्य है हिंदी
पंजाब का बांकपन है हिंदी
है राजस्थान की संस्कृति निराली
हरियाणा का अपनापन है हिंदी
सभ्यता का हम पर एहसान है हिंदी
कण कण में विद्यमान है हिंदी
भारतवर्ष को करती ये अलंकृत
विदेशों में भी शोभायमान है हिंदी
ऋतुओं का आगमन है हिंदी
त्योहारों का मनाना है हिंदी
नैतिक मूल्यों का पाठ पढ़ाती
जीने का जीवन नाम है हिंदी
देश का गुणगान है हिंदी
हर जन का स्वाभिमान है हिंदी
पल भर में बनाती ये आसान है हिंदी
अनेकता में एकता का नाम है हिंदी
नस नस में विराजमान है हिंदी
दिलों में दैदीप्यमान है हिंदी
बड़ी से बड़ी कठिनाई को
भारत का दूजा नाम है हिंदी
सबकी आन बान और शान है हिंदी
जोड़े रखती सबको संग अपने
भीड़ से हटकर बनाई है जिसने
एक अलग पहचान है हिंदी
हिन्दी भाषा
hindi poem for class 4th
सरल,सहज और मीठी भाषा,
बह प्रचलित और श्रेष्ठ भाषा.
हम सब की है प्रिय भाषा,
हिन्दी हमारी राष्ट्र भाषा,
साहित्य का श्रंगार है हिंदी,
सूर मीरा की भाषा हिन्दी,
मैत्री की भाषा है हिन्दी,
राष्ट्र का प्रतीक है हिन्दी,
पढ़ते हिन्दी,लिखते हिन्दी,
सुनते और समझते हिन्दी.
हिंदी भाषा हमारी शान,
करते हम इस पर अभिमान.
अँग्रेजी का नव विकल्प बन
लेती है अँगड़ाई हिंदी.
संस्कृति, उत्सव, त्योहारों की
नस – नस में है समायी हिंदी.
सहज, सरल भावों – शब्दों की
शीतल – सी पुरवाई हिंदी.
देशज बोली, भाषाओं की
करती है अगुवाई हिंदी.
हो संयुक्त राषट्र की भाषा
गिने न और दहाई हिंदी.
-प्रीतम कुमार साहू
खेलो होली
Easy Hindi Poem for class 4
रंगों की भर लाओ झोली.
मिलजुल के सब खेलो होली.
नाचो-गाओ, खुशी मनाओ,
करो सभी के संग ठिठोली.
करो रंग की खूब लड़ाई,
पर अपनी मीठी हो बोली.
खुशी रंग बरसाते आई.
अपनी हुड़दंगों की टोली.
जब आई गुजियाों की थाली,
टूट पड़े सारे हमजोली,
-महेंद्र कुमार वर्मा
होली है,
Easy Hindi Poem for class 4
होली है, भाई होली है.
बंदर काका भांग पिए हैं।
करता श्वान ठिठोली है.
खुशी में डुबा जंगल है।
आया पर्व सुमंगल है.
कोकिल, मैना गाएँ गीत
कौवे ने छेड़ा संगीत.
बिल्ली – चूहा रंग खेलते
मस्त ग्धों की टोली है.
लगा शेर को रंग गुलाल,
हाथी पानी रहा उछाल.
बुलबुल – गौरिया हैं संग
तितली को करती हैं तंग.
ठमक – ठमक कर नाचा मोर,
हवा फागुनी डोली चहूँ ओर,
मधुमक्खी ले आई शहद,
साथी सभी हुए गदगद.
तोते ने भी किया न देर,
लगा दिया था फलों का ढेर.,
सबने खाया – पिया प्रेम से
भरी हर्ष से झोली है.
होली है, भाई होली है.
-गौरीशंकर वैश्य विनम्र
दीपावली आई
hindi poem recitation for class 4
दीप जल उठे दीपावली आई,
कण-कण में उजियारा छाई।
घर-आंगन में रौनकता समायी,
रंग रंगीली मन को अति भायी।
घर आंगन सुहाने लगते हैं,
सब के मन को भा जाते हैं।
बच्चे मौज-मस्तियाँ करते हैं,
खूब हंसते और मुस्कुराते है।
बच्चे प्यारे-प्यारे लगते हैं,
ये बड़े न्यारे-न्यारे लगते हैं।
चमकीले कपड़े पहनते हैं,
बच्चे खुशियाँ खूब मनाते हैं।
बच्चे फुलझड़ियाँ जलाते हैं,
ये आँगन में फूल खिलाते हैं।
बच्चे खुब मिठाईयां खाते हैं,
और खुशियां खूब मनाते हैं।
धूप-दीप से थालियां सजाते हैं,
माँ लक्ष्मी की आरतियाँ करते हैं।
बतासे मिठाई से भोग लगाते हैं,
सुख-शांति का आशीष पाते हैं।
-अशोक पटेल
दीपों का त्यौहार
short hindi poems for class 4
दीप जले हैं घर आँगन में,
दीपों का त्यौहार है आया।
जगमग-जगमग घर आँगन,
सबके मन खुशियाँ समाया।
नए-नए कपड़े पहनकर,
बच्चों का मन इतराया।
देख पटाखें, फुलझड़ियाँ,
बच्चों का मन हर्षाया।
खिल,बताशे, रसगुल्ले से,
मुनिया का मन ललचाया।
दूर खड़े सोनू-मोनू भी,
देख मिठाई दौड़े आए।
देख रहा हामीद दीवाली,
उसके मन को भी भाया।
धूमधाम से मिलकर सबने,
दीपावली त्यौहार मनाया।
-महेन्द्र साहू
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